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लोकसभा चुनाव को लेकर समाजवादी पार्टी ने अपनी तैयारी शुरू कर दी

[Edited By: Rajendra]

Friday, 17th March , 2023 02:47 pm

आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर समाजवादी पार्टी ने अपनी तैयारी शुरू कर दी है। 2024 से पहले सपा राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में शुक्रवार से शुरू हो रही है। इस बैठक में सपा प्रमुख अखिलेश यादव 2024 की चुनावी तैयारी को लेकर रणनीति पर चर्चा करेंगे। पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी से अखिलेश यादव उनके आवास पर जाकर मुलाकात करेंगे। इस मीटिंग पर सभी की निगाहें लगी हुई हैं कि इस बैठक में क्या विपक्षी एकजुटता का भी कोई रास्ता निकलेगा?"

समाजवादी पार्टी के सूत्रों ने बताया कि आज शाम 5 बजे कालीघाट में ममता बनर्जी और अखिलेश यादव के बीच बैठक होगी। अखिलेश यादव आज दोपहर कालीघाट जाएंगे। समाजवादी पार्टी के अखिल भारतीय उपाध्यक्ष किरणमय नंदा ने कहा, '18 और 19 को पार्टी का राष्ट्रीय अधिवेशन होगा। 3 बजे के आसपास पार्टी के सभी सदस्यों के साथ बैठक होगी। उस दिन शाम 5 बजे ममता बनर्जी से मिलने जाएंगे। राजनीतिक हलकों के अनुसार दोनों लोकसभा चुनाव से पहले गठबंधन पर बातचीत कर सकते हैं।

मैनपुरी उपचुनाव के दौरान शिवपाल यादव की वापसी के बाद करीब सात साल बाद राष्ट्रीय कार्यकारिणी में शिवपाल यादव की वापसी हुई है। शुक्रवार की सुबह सपा के ट्विटर से किए गए ट्वीट में अखिलेश यादव और चाचा शिवपाल यादव अगल-बगल बैठकर कोलकाता जाने वाली फ्लाइट में सवार दिखाई दिए। 2016 में परिवार और सपा में हुए विवाद के बाद शिवपाल ने अलग रास्ता लिया था। लेकिन अब मैनपुर उपचुनाव के बाद दोनों फिर से साथ हैं और राष्ट्रीय अधिवेशन में सात साल बाद दोनों एक साथ दिखेंगे।

गौरतलब है कि 2017 में जनेश्वर मिश्रा पार्क में हुई राष्ट्रीय कार्यकारिणी में शिवपाल यादव को प्रदेश अध्यक्ष के पद से हटा दिया गया था। लंबे समय तक परिवार के बीच विवाद चलता रहा। लेकिन गत विधानसभा चुनाव में शिवपाल यादव और अखिलेश यादव की नजदीकियां बढ़ती थीं। तब शिवपाल यादव सपा के टिकट पर जसवंतनगर से चुनाव भी लड़े। लेकिन चुनाव के बाद दोनों के दूरियां फिर बढ़ने लगी।

लेकिन मैनपुरी लोकसभा उपचुनाव से पहले नेताजी के निधन पर दोनों एक साथ दिखाई दिए। ऐसे में मैनपुरी उपचुनाव के वक्त फिर एक बार चाचा-भतीजे साथ आ गए और साथ लाने में अखिलेश यादव की पत्नी मैनपुरी के सांसद डिंपल यादव का हाथ रहा। अब शिवपाल यादव को जिम्मेदारी भी दे दी गई है। उन्होंने बीते दिनों हर कदम पर अखिलेश यादव का साथ भी दिया है। ऐसे में अब देखना होगा कि क्या चाचा भतीजे की जोड़ी लोकसभा चुनाव में कुछ कमाल दिखा पाएगी?

जाति जनगणना के मुद्दे को पार्टी देशभर में जनता के बीच ले जाने का फैसला करेगी, ताकि जाति के बिसात पर बीजेपी को घेरा जा सके। इसके अलावा, जनता से जुड़े तमाम अन्य मुद्दों को लेकर समाजवादी पार्टी केंद्र के नरेंद्र मोदी सरकार के खिलाफ देशभर में माहौल बनाने के लिए चर्चा करेगी। विपक्षी नेताओं पर पड़ रहे सीबीआई, ईडी सहित अन्य जांच एजेंसियों के छापे व कार्रवाई की गूंज राजनीतिक प्रस्ताव में भी सुनाई देगी। हाल ही नौ विपक्षी दलों ने छापेमारी के खिलाफ संयुक्त चिट्ठी जारी की थी, जिसमें अखिलेश यादव भी शामिल थे। साथ ही प्रदेश और देश की सरकार पर जातीय व धार्मिक भेदभाव, एनकाउंटर के नाम पर उत्पीड़न जैसे मुद्दे भी मुखर रहेंगे। "

वहीं, राष्ट्रीय महासचिव और पार्टी का मुस्लिम चेहरा माने जाने वाले आजम खां के बैठक में आने को लेकर संशय बरकरार है। आजम की सेहत भी ठीक नहीं है और मुकदमों का भी अंबार है। बेटेअब्दुल्ला आजम के दो जन्म प्रमाणपत्र के मामले में शुक्रवार को रामपुर कोर्ट में उनको विडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेश होना है। ऐसे में आजम के बैठक में शामिल होने की संभावना कम है।

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