निबोहरा के गांव धरियाई में घर के सामने खुले पड़े 130 फीट गहरे बोरवैल में तीन वर्ष का मासूम सोमवार सुबह खेलते समय गिर पड़ा। बच्चे की जिंदगी बचाने को रेस्क्यू आपरेशन शुरू हो गया है। स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मौके पर पहुंचकर बोरवैल में आक्सीजन गैस की सप्लाई कर दी है। वहीं रेस्क्यू के लिए सेना और एनडीआरएफ की टीम मौके पर पहुंच चुकी हैं। सेना ने बच्चे की एक्टिविटी पर नजर रखने के लिए बोरवैल में सीसीटीवी कैमरा लगा दिया है। बोरवैल से दो सौ मीटर दूर सेना ने खाेदाई शुरू कर दी है। तीन जेसीबी खोदाई कर रही हैं। इनमें से एक सेना की है। सेना पहले सौ फीट तक खोदाई करेगी। इसके बाद बच्चे की सेफ्टी को ध्यान में रखते हुए बोरवैल की ओर खोदाई की जाएगी। अभी बच्चे को पतली नली से पानी पिलाने की कोशिश की गई थी। बोरवैल में भेजे गए कैमरे से सेना लगातार वाच कर रही है। नली से बच्चा पानी पीता हुआ दिखा है।
धरियाई गांव निवासी किसान छोटेलाल के घर के सामने ही खेतों की सिंचाई को सबमर्सिवल पिछले दिनों खराब हो गई थी। छोटेलाल ने दो दिन पहले इसमें से पाइप खिंचवा लिए थे। एक फीट की परिधि में सबमर्सिवल का 130 फीट गहरा बोरवैल है। पाइप निकालने के बाद इसे खुला छोड़ दिया।
सोमवार सुबह 7.30 बजे बोरवैल के पास बच्चे खेल रहे थे। तभी छोटेलाल का तीन वर्षीय बेटा शिवा इसमें गिर गया। साथ में खेल रहे बच्चों ने स्वजन को बताया। इसके बाद खलबली मच गई। स्थानीय लोगों ने बोरवैल में रस्सी डालकर उसकी गहराई और बच्चे की प्रतिक्रिया का अंदाजा लगाया। 95 फीट पर जाकर रस्सी अटक गई। खींचने पर खिंच नहीं रही थी।
इसको बच्चे की प्रतिक्रिया माना जा रहा है। माना जा रहा है कि बच्चा अभी जिंदा है। बोरवैल में आक्सीजन की कमी न हो, इसलिए स्वास्थ्य विभाग की टीम ने सिलेंडर से आक्सीजन की सप्लाई शुरू कर दी है। वहीं बोरवैल से बच्चे को निकालने के लिए अब पुलिस प्रशासन ने सेना और नेशनल डिजास्टर रेस्पोंस फोर्स यानी एनडीआरएफ की टीमें बुलाई हैं। ये टीमें अब रेस्क्यू आपरेशन चलाएंगी।
सीसीटीवी कैमरों से देखी जाएगी बच्चे की हालत
पुलिस अब नाइट विजन वाले सीसीटीवी कैमरे बोरवैल में फंसाने का इंतजाम कर रही है। इसकी मदद से बच्चे की हालत देखी जा सकेगी। बच्चा कहां अटका है? उसकी शरीर की स्थिति कैसी है? इसकी जानकारी इससे हो सकेगी।