चीन को भारत के साथ तनाव बढ़ाना महंगा पड़ रहा है। पिछले कुछ महीनों से चीन के लिए लगातार बुरी खबरें आ रही हैं। इसी कड़ी में फिर एक बार चीन के लिए खराब खबर आई है। दरअसल कई देश नहीं चाहते हैं, उनकी कंपनियां चीन में काम करें। इसी कड़ी में पीएम नरेन्द्र मोदी की पहल को जापान की सहमति मिल गई है। चीन के लिए यह बड़ा झटका साबित हो सकता है। आइये जानते हैं कि आखिर ऐसा क्या हुआ है।
पीएम नरेन्द्र मोदी ने गुरुवार को वैश्विक निवेशकों के साथ बैठक की थी। पीएम मोदी के अलावा उनके ज्यादातर मंत्री इसी काम पर लगाए गए हैं, कि वह उन कंपनियों को तलाशें जो चीन से बाहर निकलना चाह रही हैं। पीएम मोदी सक्रियता देख जापान ने अपनी दो कंपनियों को न केवल भारत शिफ्ट होने पर सहायता देने का फैसला किया है, बल्कि सब्सिडी भी देने का फैसला किया है। जापान की ये 2 कंपनियां है टोयोटा-त्सुशो और सुमिदा। आइये जानें इन कंपनियों के बारे में
टोयोटा-त्सुशो और सुमिदा भारत में एक दुर्लभ धातु की यूनिट लगाने की तैयारी में है, वहीं सुमिदा ऑटोमोबाइल के स्पेयर पार्ट्स बनाने का ग्लोबल काम करती है। भारत काफी समय से यह कोशिश कर रहा था, कि जापान की ये कंपनियां देश में आ जाएं। मोदी सरकार की इस सक्रियता को देखते हुए जापान की सरकार ने इन कंपनियों को सब्सिडी भी देने का फैसला कर लिया है।
चीन से बढ़ते तनाव के बीच जापान की सरकार ने कुछ समय पहले फैसला किया था, वह उन कंपनियों की आर्थिक मदद करेगी, जो चीन से बाहर जाना चाहेंगी। इसके लिए जापान की सरकार ने 2 अरब डालर का पैकेज जारी किया था। इसके अलावा जापान ने तय किया है कि वह उन कंपनियों को सब्सिडी भी दे सकता है, जो भारत या बांग्लादेश जाती हैं।
इस वक्त चीन में जापान की करीब 30,000 कंपनियां कार्यरत हैं। इसके अलावा भारत में जापान की संख्या अभी केवल 5,100 है। जापान के एक्टर्नल ट्रेड ऑर्गेनाइजेशन की घोषणा के अनुसार उसकी तरफ से उन 10 कंपनियों की मदद की जाएगी, जो भारतीय कंपनियों के साथ हाई-टेक प्रोजेक्ट्स में जुड़ना चाहेंगी।