नागपुर हिंसा के बाद सियासत गर्म हो गई है, 17 मार्च को हुई हिंसा के बाद सभी राजनीतिक दलों के नेता बयान दे रहे है इसी बीच उत्तर प्रदेश के बरेली जिले में मुस्लिम धर्म गुरु मौलाना शाहबुद्दीन रजवी ने नागपुर हिंसा को लेकर बड़ा बयान दिया है, उन्होंने फिल्म छावा को नागपुर दंगे का कारण बताते हुए इस पर प्रतिबंध लगाने की मांग की है।
मौलाना के मुताबिक नागपुर हिंसा अभी हाल में रिलीज हुई छत्रपति शिवाजी महाराज के पुत्र छत्रपति शंभाजी महाराज की जीवनी पर बनी फिल्म ‘छावा’ को लेकर हुआ है। हालांकि नागपुर दंगों की वजह से बिगड़े हालातों पर अब काबू पा लिया गया है, लेकिन मौलानाओं की ऐसे हास्यपद बयानों से समाज में क्या संदेश जाएगा इसको देखकर आप अपना सर ही पकड़ लेंगे। इतना ही नहीं मौलाना ने फिल्म को बैन करने की मांग भी कर दी है।
दरअसल ऑल इंडिया जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना शहाबुद्दीन रजवी ने नागपुर दंगों के लिए फिल्म ‘छावा’ को जिम्मेदार ठहराया और गृहमंत्री अमित शाह को पत्र लिखकर फिल्म पर पाबंदी की मांग की है. उन्होंने अमन की अपील की और सपा सांसद के बयान का समर्थन किया है.
मौलाना का कहना है कि फिल्म छावा की रिलीज के बाद से देश का माहौल बिगड़ा है. फिल्म में औरंगजेब को हिंदू विरोधी दिखाया गया है. इससे हिंदू युवाओं को भड़काया जा रहा है. मौलाना ने पत्र में लिखा कि, “आपसे अनुरोध है कि फिल्म छावा पर जल्द से जल्द प्रतिबंध लगाएं और उसके डायरेक्टर, प्रड्यूसर और राइटर के खिलाफ कानूनी कार्यवाही करें. ताकि भाविष्य में कहीं दूसरी जगह कोई दंगा फसाद न हो. उन्होंने स्पष्ट किया है कि, ‘भारत का मुसलमान औरंगजेब बादशाह को अपना आईडीएल और रहनुमा नहीं मानता है. उनको हम सिर्फ एक शासक मानते हैं, इससे ज्यादा कुछ नहीं.