कर्नाटक में दो कॉलेजों में स्टूडेंट के जनेऊ और रक्षा सूत्र (कलावा) पहनने पर विवाद हो गया। पहला मामला शिवमोगा जिले के आदिचुंचनगिरी स्कूल का है। जहां कॉमन इंट्रेंस टेस्ट (CET) एग्जाम देने आए तीन स्टूडेंट का जनेऊ उतरवाया गया। वहीं दूसरा मामला बीदर जिले के साई स्पूर्थी पीयू कॉलेज का है। यहां एक स्टूडेंट ने जनेऊ उतारने से मना कर दिया तो उसे एग्जाम में बैठने नहीं दिया गया। अब इस मामले में बड़ा एक्शन लेते हुए एग्जाम अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई है।
शिवमोगा जिले के शरावतिनगर में आदिचुंचनगिरी स्कूल में सीईटी परीक्षा के दौरान यह घटना सामने आई थी। कर्नाटक कॉमन एंट्रेंस टेस्ट (सीईटी) में शामिल होने वाले छात्रों से कथित तौर पर उनके जनेऊ और रक्षा सूत्र (कलावा) उतारने के लिए कहा गया था।
पुलिस के मुताबिक नटराज भगवत नामक व्यक्ति द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के आधार पर कई धाराओं पर एफआईआर दर्ज की गई है। पुलिस ने इस मामले की जांच शुरू कर दी है, ताकि यह पता लगाया जा सके कि किन परिस्थितियों में छात्रों को कथित तौर पर धार्मिक प्रतीकों को उतारने के निर्देश दिए गए थे। वहीं इस घटना पर कर्नाटक के उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. एमसी सुधाकर का रिएक्शन भी सामने आया है। उन्होंने इसे “बहुत दुर्भाग्यपूर्ण” बताया और पुष्टि की कि बीदर के एक परीक्षा केंद्र से भी ऐसी शिकायतें मिली हैं। हालांकि, उन्होंने स्पष्ट किया कि राज्य भर के अधिकांश अन्य केंद्रों पर परीक्षा प्रक्रिया सुचारू रूप से चली। मीडिया से बातचीत के दौरान कहा “यह घटना बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है। यह केवल शिवमोग्गा में ही नहीं बल्कि बीदर जिले में भी हुआ। दो केंद्रों को छोड़कर बाकी सभी जगहों पर प्रक्रिया सुचारू रूप से चली। किसी भी गैजेट की जांच या तलाशी के लिए जिम्मेदार लोगों या यहां तक कि जो भी प्रोटोकॉल का पालन किया गया था, उन्हें कभी भी ऐसी वस्तुओं की जांच या हटाने का निर्देश नहीं दिया गया था।
उन्होंने कहा, “परीक्षा के दौरान इन चीजों को हटाने का उल्लेख नहीं किया गया था। हम सभी धर्मों, उनकी आस्था और उनके कार्यों का सम्मान करते हैं। हम इसे स्वीकार नहीं कर सकते और हम कार्रवाई करने जा रहे हैं। दरअसल, CET की परीक्षा देने पहुंचे तीन छात्रों को इसीलिए रोक लिया गया क्योंकि उन्होंने जनेऊ और हाथों में रक्षा सूत्र (कलावा) पहना हुआ था। गेट पर मौजूद गार्ड ने 2 लड़कों ने जनेऊ और रक्षा सूत्र (कलावा) खुलवा दिया, जबकि एक छात्र जनेऊ न खोलने पर अड़ गया। जिसके चलते उस 15 मिनट तक गेट पर ही रोक लिया गया। इसके बाद उसके हाथों में बंधे रक्षा सूत्र को उतरवा लिया गया, लेकिन जनेऊ के साथ उसे परीक्षा देने को दी गई।
कर्नाटक के बीदर में एग्जाम देने गए स्टूडेंट ने बताया, 17 अप्रैल को मेरा Math का CET एग्जाम था। जब मैं परीक्षा केंद्र पहुंचा तो कॉलेज मैनेजमेंट ने मेरी जांच की और मेरा जनेऊ देखा। उन्होंने मुझसे कहा कि इसे उतार दो या काट दो, तभी वे मुझे परीक्षा देने को मिलेगा, काफी देर तक मैं उनसे अनुरोध करता रहा, लेकिन आखिरकार मुझे घर वापस आना पड़ा। मेरी मांग है कि सरकार दोबारा परीक्षा कराए या मुझे सरकारी कॉलेज में सीट दे। पुलिस के मुताबिक, आदिचुंचनगिरी पीयू कॉलेज एग्जाम सेंटर पर सुरक्षा कर्मचारियों ने 3 छात्रों से जनेऊ उतारने को कहा गया। दो छात्रों ने परीक्षा हॉल में प्रवेश करने से पहले जनेऊ उतार दिया। लेकिन 1 स्टूडेंट ने मना कर दिया, तो उसे रोक दिया गया।
अधिकारियों की मानें तो बीदर में एक छात्र को गुरुवार सुबह गणित का पेपर दिए बिना ही घर लौटना पड़ा। बताया जा रहा है कि साईं स्फूर्ति कॉलेज में परीक्षा केंद्र पर स्क्रीनिंग कमेटी ने कथित तौर पर उससे परीक्षा हॉल में प्रवेश करने से पहले जनेऊ हटाने के लिए कहा था। लेकिन उसने ऐसा करने से साफ मना कर दिया और math का पेपर दिए बिना ही परीक्षा केंद्र से चला गया।