पहलगाम मे 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले में 26 लोगों की मौत के बाद पूरे देश में आक्रोश है। इस हमले के जवाब में केंद्र सरकार ने सख्त फैसला लिया है। सरकार ने कहा है कि भारत में रह रहे पाकिस्तानी नागरिकों को देश से बाहर निकाला जाएगा। हालांकि मध्य प्रदेश में इसे लेकर एक पेचीदा स्थिति बन गई है। MP पुलिस ने 9 ऐसे बच्चों की पहचान की है जिनकी मां भारतीय हैं और पिता पाकिस्तानी हैं।
मध्य प्रदेश में 9 बच्चे ऐसे हैं जिनके पिता पाकिस्तानी हैं और माताएं भारतीय। अब सवाल यह है कि इन बच्चों का क्या किया जाए। क्या इन्हें पाकिस्तान भेजा जाए या फिर भारत में ही रहने दिया जाए? अधिकारी भी इस बात को लेकर परेशान हैं। सरकार यह तय नहीं कर पा रही है कि इन बच्चों को पाकिस्तान भेजा जाए या भारत में ही रहने दिया जाए। इसके साथ ही, एक पाकिस्तानी नागरिक ने 25 अप्रैल को लॉन्ग टर्म वीजा के लिए आवेदन किया है, जिस पर भी सरकार को फैसला लेना है।
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया हमने इन मामलों में केंद्र सरकार से सलाह मांगी है। एमपी में 9 बच्चे हैं, जिनकी मां भारतीय और पिता पाकिस्तानी हैं। इनमें से 4 बच्चे इंदौर, 3 जबलपुर और 2 भोपाल से मिले हैं। साथ ही एक शख्स ने 25 अप्रैल को LTV के लिए भी अप्लाई किया था। हमने इन दोनों मामलों में गृह मंत्रालय को खत लिखा है। पुलिस के अनुसार, केंद्र सरकार के आदेश के तहत मध्य प्रदेश में कुल 14 लोगों को देश छोड़कर जाना था। इनमें यह 9 बच्चे भी शामिल हैं। 3 को पहले ही पाकिस्तान भेजा जा चुका है। इनमें एक शख्स किसी काम के सिलसिले में दिल्ली गया है। इसके अलावा अभी 228 पाकिस्तानी अलग-अलग वीजा पर मध्य प्रदेश में रह रहे हैं।
पहलगाम में आतंकी हमले के बाद भारत सरकार कई बड़े फैसले ले चुकी है जिससे पाकिस्तान मे डर का महौल है पहले सिंधु घाटी का पानी दूसरा पाकिस्तानी वीजा को रद्द किया और फिर भारत मे रहने वाले पाकिस्तानी नागरिकों को अपने मुल्क मे लौटने का फैसला किया। इस आदेश के बाद सभी राज्यों की इंटेलिजेंस एजेंसी एक्टिव हो गई हैं और सभी राज्यों में पाकिस्तानी-बांग्लादेशियों की धड़पकड़ जारी है। वहीं अब ये जानकारी सामने आई है कि तय समय पर भारत न छोड़ने वाले पाकिस्तानियों को जेल और जुर्माने का सामना करना पड़ेगा। जानकारी के मुताबिक, कोई भी पाकिस्तानी नागरिक, जो सरकार की तरफ से निर्धारित समय-सीमा के भीतर भारत छोड़ने में विफल रहता है, उसे गिरफ्तार किया जाएगा, उस पर मुकदमा चलाया जाएगा और उसे 3 साल तक की जेल या अधिकतम 3 लाख रुपये का जुर्माना या दोनों सजाओं का सामना करना पड़ सकता है।
अमित शाह ने शुक्रवार 25 अप्रैल को सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों को फोन किया और बात की। सूत्रों के मुताबिक अमित शाह ने मुख्यमंत्रियों से अपील की कि वे इस काम को सबसे बड़ी प्राथमिकता दें और अपने-अपने राज्यों में कानून-व्यवस्था बनाए रखें. उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तानी नागरिकों की पहचान और उनके वीजा रद्द करने की प्रक्रिया में कोई देरी नहीं होनी चाहिए.बता दें यह कदम पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव की पृष्ठभूमि में उठाया गया है, जिसने पूरे देश को दंग कर दिया है। क्या यह कार्रवाई किसी बड़ो एक्शन की ओर इशारा कर रही है? बता दें ग्रहमंत्री शाह ने मुख्यमंत्रियों को सख्त निर्देश दिए है कि सभी प्रकार के वीजा तत्काल प्रभाव से रद्द किए जा रहे हैं और पाकिस्तानी नागरिकों को जल्द से जल्द उनके देश वापस भेजने के लिए कदम उठाए जाएं। बका दें इससे पहले 23 अप्रैल को नई दिल्ली में CCS की एक उच्च-स्तरीय बैठक हुई। इसमें गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, विदेश मंत्री एस जयशंकर, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोवल और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने हिस्सा लिया। बैठक में पहलगाम हमले के बाद सुरक्षा स्थिति की समीक्षा की गई और पाकिस्तान के खिलाफ कड़े कदम उठाने का फैसला लिया गया। भारत ने 1960 की सिंधु जल संधि को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है।