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अब आर-पार की लड़ाई को तैयार शिवसेना, भाजपा को दे सकती बड़ा झटका, जानिए वजह

[Edited By: Admin]

Tuesday, 5th November , 2019 05:48 pm

विधानसभा चुनाव परिणाम आने के बाद से ही महाराष्ट्र की राजनीति में कुछ सही नहीं चल रहा है. सूत्रों की मानें तो आने वाले कुछ घंटे महाराष्ट्र भाजपा के लिए सही नहीं है. इसकी वजह बन सकती है शिव सेना. बीजेपी और महाराष्ट्र के बीच संवाद पूरी तरह से बंद है.
यहां जानिए महाराष्ट्र की राजनीति में क्या है लेटेस्ट अपडेट.........


महाराष्ट्र में बीजेपी और शिवसेना के बीच सत्ता के 50-50 बंटवारे को लेकर गतिरोध बरकरार है, जिसे खत्म करने में मदद के लिए शिवसेना ने BJP के वैचारिक संरक्षक माने जाने वाले राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से गुहार लगाई है. केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी के करीबी माने जाने वाले शिवसेना नेता किशोर तिवारी ने खत लिखकर RSS के सरसंघचालक मोहन भागवत से दखल देने का आग्रह किया है, और आरोप लगाया है कि बीजेपी 'गठबंधन धर्म' का पालन नहीं कर रही है.
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के परिणाम घोषित होने के बाद से ही शिवसेना दावा करती आ रही है कि भाजपा ने चुनाव से पहले सत्ता के 50-50 बंटवारे पर सहमति व्यक्त की थी. शिवसेना के अनुसार, इसका अर्थ यह है कि मुख्यमंत्री तथा मंत्रिमंडल के आधे पद बारी-बारी दोनों पार्टियों को हासिल होंगे.

मोहन भागवत को लिखे खत में किशोर तिवारी ने कहा है कि राज्य की जनता ने BJP-शिवसेना गठबंधन के पक्ष में जनादेश दिया है. लेकिन BJP द्वारा 'गठबंधन धर्म' का पालन नहीं करने की वजह से महाराष्ट्र में नई सरकार के गठन में विलंब हो रहा है. खत के अनुसार, इसीलिए, RSS को 'दखल देना चाहिए और मुद्दे को हल करना चाहिए...'

राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की ओर से खत का कोई जवाब अभी सामने नहीं आया है.24 अक्टूबर को हुई मतगणना के बाद ही गठबंधन के दोनों सहयोगी दलों के बीच गतिरोध बना हुआ है. शिवसेना ने अपनी मांग से पीछे हटने से इंकार कर दिया है, जबकि BJP स्पष्ट रूप से कह चुकी है कि वह शीर्ष पद का बंटवारा नहीं करेगी. अपने मुखपत्र 'सामना' में शिवसेना ने घोषणा कर दी है कि उन्होंने 2014 में BJP की शर्तें मान ली थीं, लेकिन इस बार वह 'नहीं झुकेगी...'

BJP की ओर से किसी भी तरह की प्रतिक्रिया नहीं मिलने से नाराज़ शिवसेना ने यहां तक घोषणा कर दी कि वह सरकार बनाने के लिए शरद पवार की राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) और कांग्रेस के साथ जाने के लिए भी तैयार है.

BJP ने तो पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह तथा महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के बीच हुई बैठक के बाद भी कोई जवाब नहीं दिया. सोमवार सुबह हुई बैठक के बाद देवेंद्र फडणवीस ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि महाराष्ट्र में जल्द से जल्द सरकार गठित किए जाने की ज़रूरत है, और ऐसा होगा.

महाराष्ट्र में सरकार गठन को लेकर जारी गतिरोध के बीच शिवसेना के वरिष्ठ नेता संजय राउत ने रविवार को कहा था कि उनकी पार्टी भाजपा से केवल मुख्यमंत्री पद के मुद्दे पर ही बातचीत करेगा. राज्य में 24 अक्टूबर को विधानसभा चुनाव परिणाम घोषित होने के बाद से दोनों गठबंधन साझीदारों के बीच मुख्यमंत्री पद को लेकर गतिरोध बना हुआ था. इस चुनाव में 288 सदस्यीय महाराष्ट्र विधानसभा में शिवसेना ने 56 और भाजपा ने 105 सीटों पर जीत दर्ज की. राउत ने पत्रकारों से कहा था कि गतिरोध जारी है. सरकार गठन को लेकर अभी कोई बातचीत नहीं हुई है. अगर बातचीत होगी, तो केवल मुख्यमंत्री पद को लेकर ही होगी.

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