लखनऊ-उत्तर प्रदेश सरकार ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के तमाम निर्देशों के बावजूद सरकारी फोन नहीं उठाने वाले कई आईएएस अफसर और कमिश्नर को नोटिस भेजा है। इन लोगों को अगले तीन दिन में इस नोटिस का जवाब देना है। जिन लोगों से जवाब मांगे गए हैं, उनमें कई जगहों के मंडलायुक्त, जिलाधिकारी, एसपी और एसएसपी शामिल हैं।
जन शिकायतों के निस्तारण पर जोर देते रहे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बार-बार दोहरा रहे हैं कि अधिकारी सीयूजी नंबर पर आने वाली हर कॉल रिसीव करें और जनता की समस्या का समाधान कराएं। लेकिन अपनी आदत से मजबूर अधिकारी जनता का फोन उठाना तो दूर यहां तक सीएम ऑफिस का भी फोन नहीं उठाते। मुख्यमंत्री कार्यालय के सूत्रों ने बताया कि इस कड़ी में शनिवार को सीएम के पंचम तल स्थित कार्यालय से आकस्मिक जांच की गई कि मंडल और जिलों में तैनात वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी सीयूजी नंबर पर फोन रिसीव कर रहे हैं या नहीं।
सीएम योगी के रियल्टी चेक में सचिवालय के अधिकारियों ने प्रदेश के सभी जिलों के जिलाधिकारी और कमिश्नर को फ़ोन मिलाया गया लेकिन ज़्यादातर ज़िलों में फ़ोन किसी ने नहीं उठाया। लेकिन ज़्यादातर ज़िलों में फ़ोन किसी ने नहीं उठाया। जांच में कई जिलाधिकारी और मंडलायुक्त समेत पुलिस के अधिकारी फेल हो गए। ऐसे लगभग दो दर्जन जिलाधिकारी, पांच मंडलायुक्त और करीब 12 एसएसपी सहित अन्य पुलिस अधिकारी मुख्यमंत्री कार्यालय के रियल्टी चेक में फंस गए हैं। इसके बाद मुख्यमंत्री सचिवालय ने उनको नोटिस जारी किया गया है।
जिन जिलों के डीएम ने फोन नहीं उठाया, वो ये है- गौतमबुद्धनगर, गाजियाबाद, बदायूं, अलीगढ़, कन्नौज, संतकबीर नगर, सिद्धार्थनगर, गोरखपुर, फिरोजाबाद, हापुड़, अमरोहा, पीलीभीत, बलरामपुर, गोंडा, जालौन, कुशीनगर, औरैया, कानपुर देहात, कानपुर झांसी, मऊ, आजमगढ़, वाराणसी, प्रयागराज, अयोध्या और बरेली
इसके अलावा आगरा मंडल के किसी जिले के एसपी-एसएसपी ने फोन नहीं उठाया. अलीगढ़, प्रयागराज, कानपुर नगर, रायबरेली, कन्नौज, औरया, कुशीनगर, जालौन के एसएसपी का फोन नहीं उठा।