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सीएम केजरीवाल ने अध्यादेश के खिलाफ कांग्रेस के समर्थन के लिए खरगे और राहुल गांधी से मिलने के लिए मांगा समय

[Edited By: Rajendra]

Friday, 26th May , 2023 03:19 pm

दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने भारतीय जनता पार्टी सरकार द्वारा पारित अध्यादेश के खिलाफ संसद में कांग्रेस का समर्थन मांगने के लिए कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और पार्टी नेता राहुल गांधी से मिलने का समय मांगा है। सीएम अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को अपने ट्वीट में केंद्र सरकार के अध्यादेश को अलोकतांत्रिक और असंवैधानिक करार दिया है।

दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल का यह बयान केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ विपक्षी पार्टियों से सहयोग हासिल करने क्रम में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, पश्चिमी बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, महाराष्ट्र के पूर्वी सीएम और शिवसेना यूबीटी के प्रमुख उद्धव ठाकरे और पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद पवार से मुलाकात के बाद दिया है। गुरुवार को एनसीपी प्रमुख शरद पवार से मुलाकात के बाद उन्होंने मीडिया से बातचीत के दौरान भी इस बात का जिक्र किया था कि वह बहुत जल्द अध्यादेश के खिलाफ कांग्रेस का समर्थन हासिल करने के लिए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और वयनाड से कांग्रेस सांसद राहुल गांधी से मुलाकात करेंगे। अपने इस बयान के एक दिन बाद उन्होंने शुक्रवार को दोनों से मुलाकात के लिए समय मांगा है।

सीएम अरविंद केजरीवाल केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ विपक्षी दलों का समर्थन हासिल करने के लिए मंगलवार को दिल्ली से बाहर निकले थे। इस मुहिम में उन्हें अभी तक जनता दल यूनाइटेड, राष्ट्रीय जनता दल, अखिल भारतीय तृणमूल कांग्रेस, शिवसेना यूबीटी, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी का समर्थन मिल चुका है। वामपंथी दलों से आप को समर्थन मिलने की पूरी उम्मीद है। अब उन्होंने कांग्रेस से समर्थन हासिल करने के लिए पार्टी के शीर्ष नेता मल्लिाकर्जुन खड़गे और राहुल गांधी से मिलने का समय मांगा है। समय मिलने पर दिल्ली सीएम कांग्रेस के शीर्ष नेताओं से संघीय ढांचे और मौजूदा राजनीतिक स्थिति पर सामान्य हमले पर चर्चा संघीय ढांचे और मौजूदा राजनीतिक स्थिति पर भी चर्चा करेंगे। बता दें कि सीएम अरविंद केजरीवाल केंद्र के अध्यादेश को देश के लोकतांत्रिक ढांचे के खिलाफ करार दिया है। उन्होंने कहा कि यह सुप्रीम कोर्ट के फैसले का भी अपमान है।

आम आदमी पार्टी के संयोजक ने खुद इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि वह केंद्र सरकार की ओर से लाए गए अध्यादेश और राजनीतिक हालत पर चर्चा करना चाहते हैं। कांग्रेस पार्टी की ओर से इस पर अभी कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी गई है। राजनीतिक जानकारों की नजरें कांग्रेस के रुख पर है क्योंकि पार्टी के कई नेता 'आप' से संभावित मेलमिलाप का खुलकर विरोध कर रहे हैं।

अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को ट्वीट किया, 'कांग्रेस अध्यक्ष खरगे जी और राहुल गांधी जी से भाजपा सरकार के अलोकतांत्रिक और असंवैधानिक अध्यादेश के खिलाफ संसद में कांग्रेस का समर्थन हासिल करने और संघीय ढांचे पर हमले और मौजूदा राजनीतिक स्थिति पर चर्चा करने के लिए मुलाकात का वक्त मांगा है।' कांग्रेस से आधिकारिक प्रतिक्रिया आने से पहले दिल्ली कांग्रेस की नेता अलका लांबा ने एक शर्त रख दी है। उन्होंने कहा है कि केजरीवाल को पहले सोनिया गांधी, मनमोहन सिंह जैसे नेताओं से माफी मांगनी चाहिए। लांबा ने यह भी उम्मीद जताई कि कांग्रेस अध्यक्ष पार्टी कार्यकर्ताओं की भावनाओं को भी ध्यान में रखेंगे।

लांबा ने केजरीवाल के ट्वीट का जवाब देते हुए लिखा, 'कांग्रेस परिवार, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी जी, पूर्व प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह जी, पूर्व मुख्यमंत्री स्वर्गीय शीला दीक्षित जी और गांधी परिवार से 'आप' माफी मांगे और बात आगे बढ़े तो हम कार्यकर्ताओं को कोई आपत्ति नहीं होगी, उम्मीद करते हैं कांग्रेस अध्यक्ष खरगे जी कांग्रेस के लाखों करोड़ों कार्यकर्ताओं की 'आप'द्वारा आहत की गई भावनाओं का ख्याल करते हुए अरविंद केजरीवाल को समय देने पर विचार करेंगे।

कभी आम आदमी पार्टी की नेता रहीं अलका लांबा अरविंद केजरीवाल सरकार के खिलाफ काफी मुखर होकर बोलती हैं। लांबा की तरह पूर्व मंत्री और वरिष्ठ नेता अजय माकन भी आम आदमी पार्टी के साथ किसी तरह की दोस्ती के खिलाफ हैं। वह लगातार कई दलीलों के साथ पार्टी से अपील कर रहे हैं कि केजरीवाल से दूरी बनाकर रखी जाए। माकन अपनी बात पर जोर देते हुए यह भी दलील रखते हैं कि अरविंद केजरीवाल और उनकी पार्टी ने कांग्रेस नेता और पूर्व पीएम राजीव गांधी से भारत रत्न वापस लेने के लिए प्रस्ताव पास किया था। दिल्ली कांग्रेस के कई नेताओं के अलावा पंजाब, गुजरात और गोवा यूनिट के भी नेता आम आदमी पार्टी को समर्थन के खिलाफ खुलकर बयान दे रहे हैं।

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