अयोध्या की मिल्कीपुर विधानसभा सीट पर बड़ा उलटफेर हुआ है। भारतीय जनता पार्टी ने मिल्कीपुर उपचुनाव मे अयोध्या हार का बदला लिया है, बीजेपी ने 8 साल बाद मिल्कीपुर को छीन लिया है। भाजपा प्रत्याशी चंद्रभानु पासवान ने सपा प्रत्याशी अजीत प्रसाद को 61540 हजार वोटों से हराया। यह इस सीट के चुनावी इतिहास में सबसे बड़ी जीत है। क्योकि सपा प्रत्याशी अपने ही बूथ पर हारे है
मिल्कीपुर प्रत्याशी चंद्रभानु पासवान के विजय ने बीजेपी कार्यकर्ताओं में उत्साह भर दिया है. प्रत्याशी पार्टी कार्यालय पर ढोल और नगाड़ों की धुन पर थिरक रहे हैं और साथ ही कार्यकर्ता होली भी खेल रहे हैं होली, इस दौरान लोगो ने जय श्री राम के नारे लगाए. प्रभारी मंत्री सूर्य प्रताप शाही भी पार्टी कार्यालय पर पहुंचे, बता दें 29 राउंड की गिनती मे ही बीजेपी लगातार 60936 वोटों से आगे चल रही थी. और आखिरी राउंड मे चंद्रभानु पासवान ने सपा प्रत्याशी अजीत प्रसाद को 61540 हजार वोटों से हराया।
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मिल्कीपुर चुनाव पर बोले अखिलेश
अखिलेश यादव ने चुनाव प्रक्रिया पर सवाल उठाते हुए कहा कि पीडीए की बढ़ती शक्ति का सामना भाजपा वोट के बल पर नहीं कर सकती है, इसीलिए वो चुनावी तंत्र का दुरुपयोग करके जीतने की कोशिश करती है। ऐसी चुनावी धांधली करने के लिए जिस स्तर पर अधिकारियों की हेराफेरी करनी होती है, वो 1 विधानसभा में तो भले किसी तरह संभव है, लेकिन 403 विधानसभाओं में ये ‘चार सौ बीसी’ नहीं चलेगी। इस बात को भाजपावाले भी जानते हैं, इसीलिए भाजपाइयों ने मिल्कीपुर का उपचुनाव टाला था। पीडीए मतलब 90% जनता ने ख़ुद अपनी आँखों से ये धांधली देखी है।
उन्होने आगे कहा बीजेपी की ये जीत झूठी है, जिसका जश्न भाजपाई कभी भी आईने में अपनी आँखों-में-आँखें डालकर नहीं मना पाएंगे। जिन अधिकारियों मिल्कीपुर उपचुनाव में घपलेबाजी का अपराध किया है वो आज नहीं तो कल अपने लोकतांत्रिक-अपराध की सज़ा पाएंगे। 1-1 करके सबका सच सामने आएगा। न क़ुदरत उन्हें बख़्शेगी, न क़ानून। भाजपाई उनका इस्तेमाल करके छोड़ देंगे, उनकी ढाल नहीं बनेंगे। जब उनकी नौकरी और पेंशन जाएगी तो वो अपने बच्चों, परिवार और समाज के बीच अपमान की ज़िंदगी की सज़ा अकेले भुगतेंगे। लोकसभा चुनावों में अयोध्या में हुई पीडीए की सच्ची जीत, उनके मिल्कीपुर के विधानसभा की झूठी जीत पर कई गुना भारी है और हमेशा रहेगी।